17 Year old Brave Boy Fight With Tiger: बाघ को डराने वाला ये 17 साल का लड़का आज जिंदगी और मौत के बीच झूल रहा है।
17 Year old Brave Boy Fight With Tiger: भूखे खुंखार बाघ ने पीछे से हमला किया और सिर को बुरी तरह जख्मी कर दिया, फिर खाने के लिए आगे से हमला किया लेकिन इस बार उसे मुंहतोड़ जवाब मिला। 17 साल के बहादुर लड़के ने बाघ के मुंह में हाथ डालकर उसकी जीभ बाहर निकाल दी और उसके दांत तोड़ने की कोशिश की। इस लड़के की बहादुरी को देख बाघ डर के भाग गया। बाघ को डराने वाला ये लड़का आज जिंदगी और मौत के बीच झूल रहा है। बाघ के हमले में लड़के का सिर बुरी तरह से जख्मी हो गया है। जिसके इलाज के लिए गरीब ने अब तक 8 लाख रूपए खर्च कर दिए है, लेकिन अभी भी लड़के की हालात नाजुक है।
बहादुरी के साथ किया बाघ का सामना
ये मामला उत्तराखंड के नैनीताल जिले के रामनगर थानाक्षेत्र के मालधन गांव का है। जानकारी के अनुसार, मालधन गांव का रहने वाला 17 साल का अंकित 2 नवंबर की दोपहर को खेत के लिए बीज लेने बाजार जा रहा था, तभी रास्ते में सड़क पर अचानक एक बाघ ने पीछे से हमला कर दिया। हालांकि, अंकित ने पूरी बहादुरी के साथ बाघ का सामना किया और खुद की जान बचाई। अंकित ने बताया कि, जब बाघ ने उस पर हमला किया तो घबरा गया था, लेकिन उसने खुद संभालते हुए सबसे बाघ के मुंह में हाथ डाला और उसकी जीभ बाहर निकाली। इसके बाद उसने बाघ के दांत तोड़ने की कोशिश की। इससे बाघ डर गया और मौके से भाग गया। बाघ के भागने के बाद अंकित ने राहत की सांस ली, लेकिन तभी उसे पता चला कि उसका सिर बुरी जख्मी है।
अंकित के हौसले को देख डॉक्टर भी हैरान
अंकित के परिवार वाले उसे इलाज के लिए सबसे पहले AIIMS ऋषिकेश में ले गए, जहां अस्पताल के डॉक्टरों ने बेड न होने और जख्म की स्थिति खराब होने का हवाला देते हुए इलाज करने से मना कर दिया। इसके बाद परिवार अंकित को लेकर काशीपुर और मुरादाबाद ले गया। यहां भी डॉक्टरों ने जख्म की हालत देख अपने हाथ खड़े कर दिये। फिर परिवार को किसी ने हरियाणा के एक प्राइवेट अस्पताल के बारे में बताया, बेटे को बचाने के लिए परिवार वहां भी पहुंचा, यहां डॉक्टर ने परिवार की उम्मीद और अंकित के हौसले को देखते हुए उसका इलाज शुरू कर दिया।
विवाहित बहन ने बेचे जेवर
यहां इलाज में परिवार ने अब तक 8 लाख रुपए खर्च कर दिए है। परिवार ने बताया कि अंकित की विवाहित बहन ने अपने भाई को बचाने के लिए अपने सारे जेवर बेच दिए है। वहीं, इस पूरे मामले में राज्य सरकार की तरफ से परिवार को सिर्फ 50 हजार रुपए की ही मदद मिली है। घायल अंकित का कहना है कि वो जीना चाहता है। अंकित के परिवार ने सरकार से मदद की गुहार लगाई है।